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बस चन्द दिनों की तो बात है,
उनकी हमारी हुई मुलाक़ात है,
मुलाकात की तो बस बात है,
एक दो बार की मुलाकात है,
वो अपने आपे में थे,
हम अपने सहापे में थे,
कुछ बात उनकी तरफ से थी,
कुछ बात हमारी तरफ से थी,
यूँ ही बातों-बातों में,
थोड़ी बहुत मुलाकातों में,
वक्त गुजरता चला गया,
दिल एक होता चला गया,
उनको न रहा गया,
हमको न रहा गया,
अगली मुलाकात में,
मम्मी-पापा को बुला लिया गया,
अनजानों से मिले थे,
बात समझ गए थे,
तय उन्होंने कर दिया,
आपको आमंत्रण दिया,
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1 टिप्पणियाँ:
achchi lagi....sab kuch jhat-pat......
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